App Developer Course 2024: आज के इस डिजिटल दुनिया में इंटरनेट और मोबाइल फोन हमारे जीवन का महत्पूर्ण हिस्सा बन गया है अब हर काम ऑनलाइन हो रहा है है। ऐसे में मोबाइल एप (mobile app) दैनिक जीवन की जरूरतों में शामिल हो चूका हैं। मनोरंजन, चिकित्सा से लेकर पढ़ाई तक अनेक क्षेत्रों में एप का इस्तेमाल हो रहा है। जिसके कारण एप डेवलपर (App Developer Course ) के लिए रोजगार के मौके बढ़े हैं जो आने वाले दिनों में और भी बढ़ेंगे। ऐसे में अगर आप एप डेवलपर (mobile app developer) बन अपना करियर बना सकते है और अपने पेशेवर जीवन में काफी ऊंचाई हासिल कर सकते हैं।
आज के इस पोस्ट में आपको बताऊंगा की कैसे आप app developer Kaise bane . इसके वाला App Developer Course कौन कौन सा है, android app developer course qualifications क्या है इन सभी चीजों की जानकारी app developer Kaise bane (How to become app developer ) के इस पोस्ट में दूंगा तो इस पोस्ट को ध्यान से शुरू से ले कर लास्ट तक पढ़े.
एप डेवलपमेंट क्या है? | what is app development?
जिस तरीके से किसी कंप्यूटर के लिए सॉफ्टवेयर बनाया जाता है उसी तरीके से एंड्रॉयड, आईओएस जैसे प्लेटफॉर्म के लिए सॉफ्टवेयर बनने को एप डवलपमेंट कहते है एप डेवलपर (App Developer) मुख्य रूप से तीन प्रकार के होते हैं, जिनमें मोबाइल एपडेवलपर, एंड्रॉयड डेवलपर और आईओएस डेवलपर शामिल हैं।
मोबाइल फोन, कंप्यूटर, स्मार्टवॉच और टैब के लिए एप का निर्माण करना एप डवलपमेंट (App development) का हिस्सा है. जो किसी भी ऐप को बनने के लिए एक खास लैंग्वेज उपयोग किया जाता है जो सिर्फ एक mobile app developer ही समझ पता है।
- Android Application Developer : एंड्रॉइड एप्लिकेशन डेवलपर का मुख्य काम एंड्राइड एप को बनाने और विकसित करने का होता है. जो एंड्रॉइड ऑपरेटिंग सिस्टम वाले स्मार्टफोन या टैबलेट में उपयोग किया जा सके।
- iOS Application Developer: IOS एप्लिकेशन डेवलपर के रूप में आपका काम आवश्यकता के अनुसार Apple ios एप को विकसित करना है. जिसका उपयोग Apple के हार्डवेयर जैसे iPhone, iPod Touch, iPad और Apple Touch, आदि में किया जा सके।
- Microsoft Windows Application Developer : Microsoft Windows एप डेवलपर के रूप में, आप कंप्यूटर सॉफ्टवेयर बनाने के साथ-साथ Windows फ़ोन के लिए एप होगा ।
- Blackberry Application Developer : ब्लैकबेरी एप्लिकेशन डेवलपर के रूप में आपको ब्लैकबेरी मोबाइल फोन ग्राहकों को संतुष्ट करने के लिए आकर्षक मोबाइल एप्लिकेशन बनाने और विकसित करना होगा।
App Development Future Scope
एक रिपोर्ट के अनुसार, mobile app developer का क्षेत्र अगले पांच वर्ष तक 25 फीसदी की दर से वृद्धि करेगा। कई आईटी रिक्रूटरों का मानना है कि mobile app developer की मांग के मुबाबले फिलहाल पेशेवर कम हैं। एक सर्वे के मुताबिक, हर भारतीय लगभग प्रतिदिन 50 मिनट स्मार्टफोन पर बिताता है। इनमें सबसे ज्यादा संख्या एंड्रॉयड फोन की है। ऐसे में एंड्रॉयड एप डेवलपर (android app developer) बनना करियर के अच्छा साबित होगा। मार्किट में एप की सबसे अधिक मांग इस केटेगरी है जो इस प्रकार है
- गेमिंग एप
- एजुकेशन एप
- बैंकिंग एप
- प्ले एप
- हेल्थ एप
- होटल बुकिंग एप
- ऑनलाइन शॉपिंग एप
- ऑनलाइन कैब बुकिंग एप
कब कर सकते है App डेवलपिंग कोर्स?
एप डेवलपर बनने के लिए एप डेवलपिंग सर्टिफिकेट, डिप्लोमा या ग्रेजुएशन कोर्स कर सकते है सर्टिफिकेट और डिप्लोमा कोर्स 3 महीना से लेकर 1 साल तक का होता है जो 12वी के बाद कभी भी कर सकते है वही ग्रेजुएशन कोर्स जैसे बी-टेक (कंप्यूटर साइंस) या बीसीए (बैचलर ऑफ कंप्यूटर एप्लिकेशन) कर सकते हैं। इनमें प्रोग्रामिंग लैंग्वेज (programing language) सिखाई जाती है, जो अच्छा डेवलपर बनने के लिए जरूरी है।
एक सफल एप डेवलपर बनने के लिए कंप्यूटर सॉफ्टवेयर इंजीनियर (computer software engineer) होना बहुत ही जरुरी है क्योकि एप के डेटा स्ट्रक्चर, डिजाइनिंग और प्रोग्रामिंग की जानकारी होना बहुत जरुरी है । जो की कंप्यूटर सॉफ्टवेयर इंजीनियर का कोर्स करने के बाद मिल जाता है.
एक एप डेवलपर के रूप में आपका काम एप की आवश्यकताओं को समझ कर उपयोगकर्ता इंटरफेस, सुविधाओं और कार्यात्मकताओं का विकास करना होगा । आप डेटा और सूचना को संसाधित करने, एप्लिकेशन के परीक्षण और फिर परीक्षण किए गए एप्लिकेशन को प्रकाशित करने की प्रक्रिया में शामिल होंगे।
कुछ प्रमुख एप डेवलपिंग कोर्स लिस्ट :
- डिप्लोमा इन कंप्यूटर इंजीनियरिंग
- बैचलर ऑफ साइंस इन मोबाइल डेवलपमेंट
- बी.टेक इन कंप्यूटर साइंस इंजीनियरिंग
- बी.टेक इन सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट
- एम.टेक इन कंप्यूटर साइंस इंजीनियरिंग
- पोस्ट ग्रेजुएशन डिप्लोमा इन सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट
एप डेवलपर योग्यता
mobile app developer course करने के लिए कंप्यूटर की बेसिक जानकारी के साथ, भौतिक विज्ञान, गणित और कंप्यूटर विषयों के साथ 12वीं कक्षा पास होना अनिवार्य है। कंप्यूटर की बुनियादी और व्यावहारिक जानकारी जरूर होनी चाहिए।
ग्रेजुएशन के बाद एप डेवलपमेंट विषय में ऑनलाइन कोर्स भी कर सकते हैं। कई वेब प्लेटफॉर्म ऐसे ऑनलाइन कोर्स प्रदान करते हैं। एप डेवलपर बनने के लिए आपबी-टेक (कंप्यूटर साइंस) या बीसीए (बैचलर ऑफ कंप्यूटर एप्लिकेशन) डिग्री कोर्स कर सकते हैं।
App Developer Course के लिए सिखाई जाने वाली भाषा:
App Developer Course में जावा, कोटलिन, एचटीएमएल, एक्सएमएल, सी, सी++, पीएचपी आदि तकनीकी भाषाएं को सिखाया जाता है। वही एडवांस लेवल पर ऑब्जेक्ट ओरिएंटेड प्रोग्रामिंग (ओओपी), सीएसएस, यूजर-इंटरफेरेंस (यूआई) स्टाइल, गेम और सिमुलेशन प्रोग्रामिंग, मोबाइल एप पोर्टफोलियो असेंबली को सिखया जाता है।
App Developer Course के लिए जरूरी कौशल
इस App Developer में सफलता के लिए डिग्री के अलावा कुछ कौशल का होना भी जरूरी है। मतलब टेक्नोलॉजी फ्रेंडली, इनोवेटिव आइडिया, प्रोग्रामिक स्किल पर मजबूत पकड़ और सॉफ्टवेयर निर्माण का बुनियादी ज्ञान होना जरुरी है एप डेवलपर के प्रमुख काम निम्न है
- एप का डिजाइन, विकास और परीक्षण करना
- क्लाइंट की जरूरत के मुताबिक एप बनाना
- एप के लिए कोडिंग करना
- लॉन्च से पहले टेस्टिंग करना
- बग को फिक्स करना
- समय-समय पर एप को अपडेट करना
app developer course salary
एक नए App developer को ज्यादातर एप निर्माता कंपनियां शुरुआती दौर में तीन से चार लाख रुपये सालाना वेतन देती हैं। थोड़ा अनुभव हासिल हो जाने के बाद एक पेशेवर पांच-छह लाख से सात लाख तक सालाना आसानी से हासिल कर सकता है। इस क्षेत्र में आप स्वयं का एप बनाकर उनका बिजनेस भी कर सकते हैं, जिससे करोड़ों की कमाई भी हो सकती है।
बिहार जमीन सर्वे 2021 ऑनलाइन फॉर्म – Bihar Jamin Survey Form PDF
App Developer को इन क्षेत्रो में मिलता है नौकरी
- आईटी कंपनियां
- वित्तीय संस्थान
- टेलिकॉम कंपनियां
- ई-कॉमर्स कंपनियां
- निजी क्षेत्र की कंपनियां
- शिक्षा और स्वास्थ्य क्षेत्र
- सरकारी कंपनियां और मंत्रालय
App Developer प्रमुख संस्थान
ऐसे तो App Developer Course किसी भी इंस्टिट्यूट से कर सकते है लेकिन अगर आप डिग्री लेना चाहते है तो इंडिया के टॉप एप डेवलपिंग प्रमुख संस्थान का लिस्ट नीचे दिया गया है जहाँ से कोर्स कर अपना करियर नई उचाई पर ले जा सकते है
- भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, दिल्ली
- जामिया मिल्लिया इस्लामिया,App Developer Course in delhi
- इंद्रप्रस्थ सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान, app developer course in delhi
- जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय, नई दिल्ली
- गुरु गोविंद सिंह इंद्रप्रस्थ यूनिवर्सिटी, app developer course in delhi
- भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, पटना (बिहार)
- राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान, पटना (बिहार)
- मोतीलाल नेहरू राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान, प्रयागराज (उत्तर प्रदेश)
- भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (बीएचयू), वाराणसी (उत्तर प्रदेश)
- भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, कानपुर (उत्तर प्रदेश)
App Development Course Important Information
Android Operating System:
एंड्रॉइड Google (google app developer course) द्वारा विकसित एक मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम है, जिसका उपयोग टचस्क्रीन डिवाइस, सेल फोन और टैबलेट के लिए किया जाता है। यह एक डिज़ाइन है जो मोबाइल उपयोग करने वाले को अपने मोबाइल फोन को स्वाभाविक रूप से नियंत्रित करने में सक्षम बनाता है, कुछ नवीनतम Android ऑपरेटिंग सिस्टम इस प्रकार है; Android 12 , एंड्राइड 11, एंड्राइड 10, पाई 9, ओरियो (8.0), नौगाट (7.0), मार्शमैलो (6.0), लॉलीपॉप (5.0), आदि।
iOS Operating system:
iOS को Apple द्वारा निर्मित और विकसित iPhone ऑपरेटिंग के रूप में भी जाना जाता है। (ios app developer course) यह Apple के हार्डवेयर के लिए एक मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम है जैसे कि iPhone, iPod Touch, iPad और Apple Touch, आदि। यह अपने उपयोगकर्ताओं के बीच लोकप्रिय है। जैसा कि यह उपयोगकर्ताओं को इशारों का उपयोग करके अपने iPhone के साथ जुड़ने की अनुमति देता है, उदाहरण के लिए, स्वाइपिंग, टैपिंग, स्क्रॉलिंग आदि।
User Interface:
एक यूजर इंटरफेस मानव और कंप्यूटर इंटरैक्शन के बीच एक चैनल है। यह उस स्थान के रूप में जाना जाता है, जहाँ उपयोगकर्ता किसी कार्य को पूरा करने के लिए कंप्यूटर या मशीन के साथ सहभागिता करेगा।
Android SDK:
Android Software Development Kit (SDK) डेवलपमेंट किट का एक सेट है जिसका उपयोग एंड्रॉइड प्लेटफॉर्म पर एप्लिकेशन विकसित करने के लिए किया जाता है। इस किट में आवश्यक लाइब्रेरी, डीबगर, एमुलेटर, सैंपल सोर्स कोड आदि शामिल हैं। डीबगर एक कंप्यूटर प्रोग्राम का एक टूल है जिसका उपयोग एप के परीक्षण के लिए किया जाता है।
Eclipse IDE:
यह एक सॉफ्टवेयर है जो जावा एप्लिकेशन और वेब-आधारित ऍप्लिकेशन्स को बनने के लिए वातावरण प्रदान करता है। यह एक नया आईडीई (Integrated Development Environment) भी प्रदान करता है जिससे C ++ और PHP प्रोग्राम आसानी से चल सकें।
कैस्केडिंग स्टाइल शीट्स (CSS):
यह एक स्टाइल शीट लैंग्वेज है, जिसका उपयोग HTML जैसी मार्कअप लैंग्वेज में लिखी गई डॉक्यूमेंट प्रेजेंटेशन को विस्तृत करने के लिए किया जाता है। इसे HTML और जावास्क्रिप्ट के साथ वर्ल्ड वाइड वेब की आधारशिला तकनीक के रूप में भी जाना जाता है।
Cascading Style Sheets (CSS):
यह एक स्टाइल शीट लैंग्वेज है, जिसका उपयोग HTML जैसी मार्कअप लैंग्वेज में लिखी गई डॉक्यूमेंट प्रेजेंटेशन को विस्तृत करने के लिए किया जाता है। इसे HTML और जावास्क्रिप्ट के साथ वर्ल्ड वाइड वेब की आधारशिला तकनीक के रूप में भी जाना जाता है।
AndroidManifest.xml:
AndroidManifest.xml एक प्रकार की फ़ाइल है जो हर Android एप्लिकेशन के लिए आवश्यक है। यह फ़ाइल अनुप्रयोग घटकों, गतिविधियों, सेवाओं आदि जैसे पैकेजों के वैश्विक मूल्य का वर्णन करती है। यह अनुप्रयोग के Root फोल्डर में स्थित है।